रायगढ़ में भड़का जनआक्रोश : महाराजा अग्रसेन व भगवान झूलेलाल पर टिप्पणी के विरोध में अग्रवाल-सिंधी समाज सड़कों पर, अमित बघेल की गिरफ्तारी की उठी जोरदार मांग

रायगढ़। छत्तीसगढ़ के रायगढ़ में मंगलवार को अग्रवाल और सिंधी समाज के लोगों ने जोहार छत्तीसगढ़ पार्टी के अध्यक्ष अमित बघेल के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान समाज के लोगों ने “अमित बघेल मुर्दाबाद” के नारे लगाए और एफआईआर दर्ज कर तत्काल गिरफ्तारी की मांग की। जानकारी के अनुसार, पिछले दिनों अमित बघेल ने महाराजा अग्रसेन और सिंधी समाज के इष्ट देव भगवान झूलेलाल के बारे में अभद्र टिप्पणी की थी। इस टिप्पणी को लेकर दोनों ही समाजों में गहरा आक्रोश है।

एफआईआर दर्ज नहीं होने से भड़का आक्रोश
अग्रवाल और सिंधी समाज के पदाधिकारियों ने पहले भी एसपी को ज्ञापन सौंपकर एफआईआर दर्ज करने की मांग की थी। हालांकि, अब तक न तो एफआईआर दर्ज की गई है और न ही अमित बघेल की गिरफ्तारी हुई है। इसी के विरोध में मंगलवार को दोनों समाजों ने अपने प्रतिष्ठान बंद रखे और श्याम टॉकीज चौक पर एकजुट होकर धरना प्रदर्शन किया।

रैली निकालकर पहुंचे धरना स्थल
सिंधी समाज के पदाधिकारी और सदस्य हेमू कल्याणी चौक से रैली निकालकर धरना स्थल पर पहुंचे। वहीं अग्रवाल समाज के प्रतिनिधि भी वहां पहुंचकर प्रदर्शन में शामिल हुए। धरना स्थल पर पहुंचे लोगों ने अमित बघेल के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और जल्द कार्रवाई की मांग दोहराई।

“अगर गिरफ्तारी नहीं हुई तो आंदोलन प्रदेश से राष्ट्रीय स्तर पर”
अग्रवाल समाज के प्रतिनिधि राकेश अग्रवाल ने कहा कि, “अमित बघेल ने महाराजा अग्रसेन और भगवान झूलेलाल के खिलाफ अमर्यादित टिप्पणी की है। हम संयम रखकर कम संख्या में बैठे हैं, लेकिन अगर जल्द गिरफ्तारी नहीं होती,तो आंदोलन को प्रदेश और राष्ट्रीय स्तर तक ले जाया जाएगा।”

“हमारे इष्ट देव के लिए अपशब्द असहनीय”
सिंधी समाज के अजय खत्री ने कहा कि, “हमारी रैली हेमू कल्याणी चौक से शुरू होकर एसपी ऑफिस तक पहुंची। हमारे इष्ट देव भगवान झूलेलाल के लिए अपशब्द कहे गए, जो असहनीय है। पहले ज्ञापन दिया गया था, लेकिन अब तक कार्रवाई नहीं हुई, इसलिए हमें सड़कों पर उतरना पड़ा है।”

प्रशासन से जल्द कार्रवाई की मांग
धरना प्रदर्शन के दौरान दोनों ही समाजों के प्रतिनिधियों ने प्रशासन से जल्द से जल्द एफआईआर दर्ज कर गिरफ्तारी करने की मांग की। लोगों ने कहा कि यदि जल्द कार्रवाई नहीं होती है, तो यह विरोध और उग्र रूप ले सकता है।