रायगढ़: जिले की सीमा से लगे उड़ीसा राज्य के सुंदरगढ़ जिले के हिमगिर थाना क्षेत्र स्थित गर्जनबहाल के भाटिया एनर्जी एंड मिनरल्स फैक्ट्री कोलवाशरी पर कब्जे को लेकर रायगढ़ के कोयला कारोबारियों के बीच दो दिन पहले हुई गैंगवार के बाद से दहशत का माहौल बना हुआ है। इस घटना के बाद सुंदरगढ़ पुलिस की कार्यशैली पर भी सवाल उठने लगे हैं।
गैंगवार की घटना
दो दिन पहले, गर्जनबहाल कोल वाशरी पर कब्जे को लेकर रायगढ़ और ओड़ीसा के कोयला कारोबारियों के बीच हिंसक झड़प हुई। इस घटना में रायगढ़ शहर के चार लोगों सहित 40 से 50 अज्ञात के खिलाफ हिमगिर थाने में नामजद FIR दर्ज की गई थी। इसके बाद, कल देर शाम इस मामले में काउंटर FIR भी दर्ज की गई है।
अजब-गजब: मृतक का नाम FIR में शामिल!
भाटिया एनर्जी एंड मिनरल्स फैक्ट्री के मैनेजर रायगढ़ के चक्रधर नगर कृष्ण वाटिका निवासी राकेश अग्रवाल द्वारा की गई शिकायत पर 7 लोगों के खिलाफ नामजद और 40-50 अन्य रायगढ़ के लोगों पर गैर जमानती धाराओं के तहत रिपोर्ट दर्ज किया गया है जिसमें सुरेश गुप्ता का भी नाम शामिल है। इस रिपोर्ट में चौंकाने वाली बात यह है कि सुरेश गुप्ता की मौत चार साल पूर्व कथित रूप से कोरोना काल में होने का दावा किया जा रहा है। छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा जारी मृत्यु प्रमाण पत्र से यह पुष्टि होती है। इस तथ्य के सामने आने के बाद ओडिशा पुलिस की कार्यशैली पर गंभीर सवाल खड़े हो रहे हैं और उनकी खूब किरकिरी हो रही है।
पुलिस की भूमिका पर सवाल
इस मामले में सबसे बड़ा सवाल यह है कि पुलिस बिना जांच-पड़ताल के इतनी बड़ी चूक कैसे कर सकती है। FIR में मृतक का नाम शामिल होना दर्शाता है कि पुलिस पर किसी बड़े दबाव का असर हो सकता है क्योंकि FIR रजिस्टर्ड करने में पुलिस से गड़बड़ी रेयर ऑफ द रेयर होती है। रायगढ़ में इस घटना के बारे कुछ जानकारों का कहना है की इस एफआईआर में विश्वसनीयता नजर नहीं आ रही पुलिस किसी दबाव में काम कर रही है। फिलहाल सुंदरगढ़ पुलिस का कहना है कि मामले में विवेचना जारी है।
कार को तोड़ते हुए वायरल वीडियो
इस बीच, सोशल मीडिया पर एक 7 सेकंड का वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें बड़ी तादाद में दहशतगर्दों द्वारा कोल वॉशरी में खड़ी काले रंग की कार को तोड़फोड़ करके रख दिया गया। इस वायरल वीडियो की पुलिस यदि पड़ताल करे तो कई आरोपियों की पहचान सामने आने की पूरी संभावना है जिससे इस कांड की जांच में पुलिस को क्लू मिल सकती है। बशर्ते पुलिस वायरल वीडियो में दिख रहे लोगों की निष्पक्षता पूर्वक शिनाख्ती कर उनसे कड़ाई से पूछताछ करें। देखिए वायरल वीडियो–
इस घटनाक्रम से रायगढ़ और सुंदरगढ़ जिले में दहशत का माहौल है और ओडिशा पुलिस की कार्यशैली पर सवालिया निशान है। अब देखना होगा कि ओड़ीसा पुलिस इस मामले को कैसे सुलझाती है और क्या कदम उठाती है।