सीएस ने बनायी 3 सदस्यों की जांच टीम, 3 दिन के भीतर देगी रिपोर्ट
रायगढ़। केजीएच में मरीजों के परिजनों से डिस्चार्ज के नाम पर अवैध उगाही की घटना का वीडियो सोशल मीडिया में वायरल होते ही स्वास्थ्य महकमे से लेकर जिला प्रशासन स्तर में हडक़ंप मचाकर रख दिया हैं। संवेदनशील प्रकरण में सिविल सर्जन ने 3 डाक्टरों की टीम बनाकर 3 दिन के भीतर जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने का आदेश जारी किया हैं। दरअसल, बीते कुछ दिन पहले महिला वार्ड में एक महिला मरीज स्वास्थ्य नासाज चलने के चलते इलाज के लिए भर्ती हुई थी। ऐसे में वह चिकित्सक से परामर्श के बाद उन्हें स्वास्थ्य लाभ के लिए भर्ती कर दिया गया।
तत्पश्चात् नियमों के तहत उसे महिला वार्ड में भर्ती रखकर उपचार किया जा रहा था। ऐसे में जब उक्त महिला डिस्चार्ज होकर जा रही थी तभी उसके परिजनों से महिला स्टाफ नर्स द्वारा पैसे की मांग की गई, जिसे पूरा करने के लिए मरीज के परिजनों ने नगद राशि उक्त नर्स की दिए। इस पूरे घटनाक्रम पर लेनदेन की कहानी ड्यूटीरत महिला स्वास्थ्य कर्मी स्टाफ नर्स की कैमरे में मरीज के परिजनों ने वीडियो वायरल कर दिया। देखते ही देखते यह वीडियो प्रसारित हो गया और स्वास्थ्य विभाग के अधीन संचालित जिले के सबसे पुराने और बड़े अस्पताल में भर्राशाही को उजागर कर दिया। पोल खुलने से हडक़ंप मच गया। बहरहाल, इस मसले पर स्वास्थ्य विभाग द्वारा नोटिस जारी किया गया है। इसके अलावा 3 सदस्यों वाली डॉक्टरों की टीम गठित कर जांच रिपोर्ट मंगाया गया है।
सुविधाएं गायब, उगाही से नाराजगी
जिला अस्पताल जबसे मेडिकल कालेज से अलग हुआ है तब से यहां सुविधाओं का टोटा है। फंड की कमी तथा चतुर्थ वर्ग से लेकर चिकित्सक की कमी है। मरीजों को उपचार के लिए कई तरह से परेशान होना पड़ रहा है।
क्या कहते हैं डॉ. मंडावी
वीडियो में माध्यय से जानकारी मिली है कि मरीज से नगद पैसे स्टाफ नर्स द्वारा लिया जा रहा है। मरीज तथा स्टाफ नर्स को नोटिस जारी किया जाएगा कि आखिर किस वजह से लेनदेन किया गया है। इस पर कार्रवाई के लिए जांच टीम बनाया गया है।इसमें 3 डॉक्टरों की टीम है।
- डॉ. आरएन मंडावी, अस्पताल अधीक्षक जिला अस्पताल