देहरादून:
उत्तराखंड के चमोली जिले की जोशीमठ तहसील को उसके प्राचीन नाम ज्योतिर्मठ से जाना जाएगा। इसके लिए राज्य सरकार ने काम शुरू कर दिया है।
पिछले साल मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चमोली जिले के घाट में आयोजित कार्यक्रम में जोशीमठ का नाम ज्योतिर्मठ करने की घोषणा की थी। इस पर प्रस्ताव बनाकर भारत सरकार को भेजा गया।
स्थानीय जनता लंबे समय से जोशीमठ को ज्योतिर्मठ नाम दिए जाने की मांग कर रही थी। उन्होंने यह मांग मुख्यमंत्री धामी के सामने भी प्रमुखता से उठाई थी।
मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुरूप प्रस्ताव बनाकर भारत सरकार को भेज दिया गया। अब केंद्र ने ज्योतिर्मठ तहसील के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। सरकार के फैसले का स्थानीय जनता ने स्वागत किया है।
मान्यता है कि आठवीं सदी में आदि गुरु शंकराचार्य इस क्षेत्र में आए थे। उन्होंने अमर कल्प वृक्ष के नीचे तपस्या की थी। जिससे उन्हें दिव्य ज्ञान ज्योति की प्राप्ति हुई थी। दिव्य ज्ञान ज्योति और ज्योतेश्वर महादेव की वजह से इस स्थान को ज्योतिर्मठ का नाम दिया गया। लेकिन, यह जोशीमठ के नाम से ही प्रचलित हो गया।
इसके बाद नाम बदलने की मांग कई बार प्रमुखता से उठी। लेकिन, इस पर अमल नहीं हो सका। मुख्यमंत्री धामी ने जनभावनाओं का सम्मान करते हुए जोशीमठ तहसील को ज्योतिर्मठ नाम देने का फैसला किया।
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